tag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post2105919209042191256..comments2023-12-12T08:28:08.425-08:00Comments on मीमांसा -- : सामूहिक भाव संस्कार संगम -- सबरंग क्षितिज [ पुस्तक समीक्षा ] रेणुhttp://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comBlogger36125tag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-28274823706248277922021-01-02T09:09:56.178-08:002021-01-02T09:09:56.178-08:00आदरणीय सर, आप जैसे अनन्य साहित्य प्रेमी और प्रबुद्...आदरणीय सर, आप जैसे अनन्य साहित्य प्रेमी और प्रबुद्ध रचनाकार की सराहना मिलना मेरा सौभाग्य है। इतनी गहराई से समीक्षा का अवलोकन करने के लिए आपकी आभारी हूँ🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-24766213192931723722020-12-06T07:06:06.013-08:002020-12-06T07:06:06.013-08:00स्नेहमयी रेणु जी, आज आपके इस ब्लॉग में सप्रयास आया...स्नेहमयी रेणु जी, आज आपके इस ब्लॉग में सप्रयास आया और मेरा यहाँ आना एक श्रेष्ठ संयोग रहा, सार्थक रहा। एक श्रेष्ठ रचनाकारा के रूप में मैं आपको जानता था, आज आपके प्रतिभाशाली समीक्षक रूप को भी देख सका, इसकी विशेष प्रसन्नता है। लेखन अपनी जगह एक कला है, किन्तु अन्य लेखक की कृति में गहरा गोता लगा कर उसका मंथन कर उसके श्रेष्ठत्व से अन्य पाठकों को परिचित कराना निस्संदेह एक दुरूह कार्य है।... और इस अबोधगम्य कार्य में ऐसा शिखर-बिन्दु प्राप्त कर लेना कभी भी सहज नहीं कहा जा सकता। आपके द्वारा समीक्षित पुस्तक 'सबरंग क्षितिज' में सभी रचनाकारों की रचनाओं ने श्रेष्ठता के किस स्तर को छुआ है, यह आपकी लेखनी बताने में सक्षम रही है। आपको इस सुन्दर समीक्षा के लिए तथा सभी लेखकों को उनकी श्रेष्ठ रचनाओं के लिए अंतरतम से बधाई देना चाहूँगा!Gajendra Bhatt "हृदयेश"https://www.blogger.com/profile/10602466047679507399noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-61550274122740676872020-07-11T10:40:11.633-07:002020-07-11T10:40:11.633-07:00 आदरणीय जितेन्द्र जी , सबसे पहले आपका अपने ब्लॉग ... आदरणीय जितेन्द्र जी , सबसे पहले आपका अपने ब्लॉग मीमांसा पर हार्दिक स्वागत करती हूँ | आपने आकर मेरे ब्लॉग और रचना का मान अपने उद्दात स्नेहिल भावों से बढाया उसके लिए कृतज्ञ हूँ |आप जैसा गंभीर पाठक मेरे ब्लॉग को मिला , अहोभाग्य ! जब भी समय हो आप जरुर मेरी दूसरी रचनाओं [ जो मात्र तीस ही हैं ] का अवलोकन करें , मुझे बहुत ख़ुशी होगी | सबरंग क्षितिज ब्लॉग जगत के दस समर्पित ब्लोग्गर्स का सामूहिक रचनात्मक प्रयास है | इसकी समीक्षा आप जैसे गुणी समीक्षक को पसंद आई इससे मुझे अपार हर्ष हुआ है | मेरे साधारण लेखन पर आप जैसे गुनीजनों की दृष्टि इसे सार्थक करती है | पुनः आभार और अभिनंदन - आपकी भावपूर्ण प्रतिक्रिया और ब्लॉग भ्रमण के लिए | सादर - रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-63213984954605072002020-07-10T22:01:01.798-07:002020-07-10T22:01:01.798-07:00माननीया रेणु जी, काश मैं आपके ब्लॉग पर जल्दी आता !...माननीया रेणु जी, काश मैं आपके ब्लॉग पर जल्दी आता ! आप हृदय से लिखती हैं, सत्यनिष्ठा से स्वयं को अभिव्यक्त करती हैं । यह लेख आपके द्वारा खोली गई वह खिड़की है जिसके द्वारा इस पुस्तक के भीतर झाँकने का अवसर मुझे प्राप्त हुआ । पुस्तक गुणी रचनाकारों का एक बहुमूल्य सामूहिक प्रयास है और उस पर आपका यह लेख गागर में सागर सदृश है । धीरे-धीरे मैं आपके सभी लेख पढ़ने का प्रयास करूंगा । समान विचार, समान स्वभाव एवं समान भावों से युक्त व्यक्ति चाहे वास्तविक संसार हो या आभासी संसार, केवल सौभाग्य से ही मिलता है । आपकी लेखनी के माध्यम से आपसे परिचय होना मेरा सौभाग्य ही है ।जितेन्द्र माथुरhttps://www.blogger.com/profile/15539997661147926371noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-49045555617938072022020-05-14T10:33:09.037-07:002020-05-14T10:33:09.037-07:00आदरणीय पुरुषोत्तम जी, सबसे पहले आपसे विनम्र आग्रह ...आदरणीय पुरुषोत्तम जी, सबसे पहले आपसे विनम्र आग्रह है, कि जीवन के एक अत्यंत कठिन दौर से गुजरते हुये मात्र एक पुस्तक समीक्षा के लिए मुझ्से क्षमा मांग कर मुझे शर्मिंदा ना करें। एक समीक्षा पर प्रतिक्रिया से कहीं अनमोल है जीवन, वो भी आपकी जीवनसंगिनी का। मुझे वैसे भी आपकी अनुपस्थिति से इस बात का आभास था, क्योकि मैं अनुजी के अस्वस्थ होने की बात से पहले से ही वाक़िफ़ हूँ। और साहित्यिक गतिविधियों को भूलकर आप उनका ध्यान रखें यही आपका प्रथम कर्तव्य है। समीक्षा आपको <br /> पसंद आई ,तो मुझे भी संतोष हुआ। मेरा प्रयास आपकी सराहना से सार्थक हुआ। अनुजी अति शीघ्र स्वस्थ हों मेरी यही कामना और दुआ है। आप की इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए आपकी आभारी हूँ। 🙏🙏🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-51952461543042655342020-05-14T08:50:29.326-07:002020-05-14T08:50:29.326-07:00आदरणीया रेणु जी, सर्वप्रथम विलम्ब से अपनी प्रतिक्र...आदरणीया रेणु जी, सर्वप्रथम विलम्ब से अपनी प्रतिक्रिया और आपके प्रशंसनीय कार्य की सराहना व आभार व्यक्त करने हेतु क्षमाप्रार्थी हूँ । <br /><br />गत दो माह (14.03.2020 से) मेरी पत्नी ICU में भर्ती थीं और अभी तक अपनी अस्वस्थता से पूर्णतः उभर नही पाई हैं। कोरोना की वजह से मैं इस <br />विषम परिस्थिति में उनके साथ बिल्कुल अकेला हूँ। अतः साहित्यिक व अन्य गतिविधियों से भी लगभग दूर ही रहा हूँ । सोशल मीडिया से तो जैसे दूरी ही हो गई । अतः शायद मेरी अनुपस्थिति व विलम्ब से प्रतिक्रिया हेतु आप हमें अवश्य क्षमा कर देंगी, ऐसा मुझे अवश्य ही आभाष व विश्वास है।<br /><br />आपने, सबरंग क्षितिज की समीक्षा करते हुए अपनी विलक्षणता व कुशाग्रता का बेहतरीन परिदृश्य प्रस्तुत किया है। मैं तो बिल्कुल ही शब्दविहीन हो रहा हूँ । एक ही साथ लेखन की विभिन्न विधाओं पर विलक्षण टिप्पणी करना तथा सभी रचनाकारों के कार्यो की निरपेक्ष व सराहनीय टिप्पणी व समीक्षा प्रस्तुत करना अवश्य ही आसान नहीं रहा होगा। <br /><br />तमाम साहित्यवर्ग आप जैसी प्रतिभाशाली व्यक्तित्व का सानिध्य पाकर अवश्य ही गौरवान्वित हो रहा होगा। <br />यहाँ अंकित अन्य प्रतिक्रियायें इसकी गवाह हैं । हमारा लेखन कार्य आज थोड़ा सार्थक होता नजर आया।<br /><br />व्यक्तिगत तौर पर, मैं आपके प्रयासों हेतु कृतज्ञ हूँ तथा जीवनपर्यन्त आपके सानिध्य की अपेक्षा रखता हूँ ।<br />पुनः आभार व धन्यवाद ।पुरुषोत्तम कुमार सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/16659873162265123612noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-86065466014024849492020-05-13T10:56:50.966-07:002020-05-13T10:56:50.966-07:00प्रिय सुधा जी, आपकी ये अत्यंत निर्मल भाव से की ...प्रिय सुधा जी, आपकी ये अत्यंत निर्मल भाव से की गयी सराहना मेरे सर आँखों पर है सखी। ये सब आप सब के स्नेहऔर सानिध्य का सुखद परिणाम है। और ये आपकी सहृदयता है, अन्यथा आप स्वयम एक उत्तम समीक्षक हैं । सस्नेह आभार आपकी इस उत्साहवर्धक प्रतिक्रिया के लिए आभार और शुभकामनायें सखी। रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-53530409630382275192020-05-13T10:49:09.854-07:002020-05-13T10:49:09.854-07:00प्रिय ध्रुवइस अविस्मरणीय प्रस्तुति के लिए आभार...प्रिय ध्रुवइस अविस्मरणीय प्रस्तुति के लिए आभारी रहूँगी🙏🙏😊 रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-3071822934171635702020-05-13T02:40:59.842-07:002020-05-13T02:40:59.842-07:00वाह!कमाल की समीक्षा लिखी है आपने....सभी रचनाओं का ...वाह!कमाल की समीक्षा लिखी है आपने....सभी रचनाओं का सार रचनाकार के भाव और अपने मन के उद्गार.... बहुत ही लाजवाब समीक्षा.... मैं दो बार पढ़ चुकी और पढनी होगी तब शायद सीख पाऊं समीक्षा लेखन...समीक्षा लेखन विधा में छा गयी हैं सखी आप....<br />नमन आपको और आपकी लेखनी को🙏🙏🙏🙏<br />सबरंग क्षितिज पुस्तक प्रकाशन की आप सभी गणमान्य रचनाकारों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं।Sudha Devranihttps://www.blogger.com/profile/07559229080614287502noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-84878592055838989522020-05-12T16:00:05.695-07:002020-05-12T16:00:05.695-07:00आदरणीय / आदरणीया आपके द्वारा 'सृजित' रचना ...आदरणीय / आदरणीया आपके द्वारा 'सृजित' रचना ''लोकतंत्र'' संवाद मंच( सामूहिक भाव संस्कार संगम -- सबरंग क्षितिज [ पुस्तक समीक्षा ]पर 13 मई २०२० को साप्ताहिक 'बुधवारीय' अंक में लिंक की गई है। आमंत्रण में आपको 'लोकतंत्र' संवाद मंच की ओर से शुभकामनाएं और टिप्पणी दोनों समाहित हैं। अतः आप सादर आमंत्रित हैं। धन्यवाद "एकलव्य" <br />https://loktantrasanvad.blogspot.com/2020/05/blog-post_12.html<br />https://loktantrasanvad.blogspot.in<br /><br />टीपें : अब "लोकतंत्र" संवाद मंच प्रत्येक 'बुधवार, सप्ताहभर की श्रेष्ठ रचनाओं के साथ आप सभी के समक्ष उपस्थित होगा। रचनाओं के लिंक्स सप्ताहभर मुख्य पृष्ठ पर वाचन हेतु उपलब्ध रहेंगे।<br /><br /><br />आवश्यक सूचना : रचनाएं लिंक करने का उद्देश्य रचनाकार की मौलिकता का हनन करना कदापि नहीं हैं बल्कि उसके ब्लॉग तक साहित्य प्रेमियों को निर्बाध पहुँचाना है ताकि उक्त लेखक और उसकी रचनाधर्मिता से पाठक स्वयं परिचित हो सके, यही हमारा प्रयास है। यह कोई व्यवसायिक कार्य नहीं है बल्कि साहित्य के प्रति हमारा समर्पण है। सादर 'एकलव्य'<br /><br /><br />'एकलव्य'https://www.blogger.com/profile/13124378139418306081noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-37088639337341557692020-05-11T12:18:03.662-07:002020-05-11T12:18:03.662-07:00दिगम्बर जी ,आपके शब्दों ने खुद पे बहुत विश्वास...दिगम्बर जी ,आपके शब्दों ने खुद पे बहुत विश्वास बढ़ाया है। आपका आभार कि आपने समीक्षा पढ़कर इसे सार्थक किया। सादर 🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-44186639161109680682020-05-11T12:12:40.902-07:002020-05-11T12:12:40.902-07:00आदरणीय रवीन्द्र जी, आपके संतोष से मुझे भी परम संतो...आदरणीय रवीन्द्र जी, आपके संतोष से मुझे भी परम संतोष हुआ। आपने पुस्तक की बहुत सी अनदेखी और अंजानी गतिविधियों से अवगत कराया है। निश्चित रूप से ये कह सकते हैं, ये सामूहिक प्रयास बहुत सार्थक रहा। आप सभी को पुनः बधाई और शुभकामनायें। सादर🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-14029344731127029762020-05-11T01:26:43.824-07:002020-05-11T01:26:43.824-07:00गज़ब ...
कितनी विस्तृत समीक्षा ...
हर विधा और और उस...गज़ब ...<br />कितनी विस्तृत समीक्षा ...<br />हर विधा और और उसमें लिखे भाव पूर्णतः जैसे आत्मा खोल दी है रचना माध्यम की ...<br />बहुत ही महनत और धरी की जेरूरत है समीक्षा लिखने में और आप पूर्णतः सफल हुयी हैं इसमें ...<br />बहुत बहुत बधाई हो आपका ...दिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-74617771646687963092020-05-10T12:47:13.987-07:002020-05-10T12:47:13.987-07:00सादर नमन आदरणीया दीदी।
सबरंग क्षितिज:विधा संगम क...सादर नमन आदरणीया दीदी। <br /><br />सबरंग क्षितिज:विधा संगम की आपके द्वारा लिखी गयी विस्तृत समीक्षा ने आत्मसंतोष का भाव पैदा किया है। किसी सृजन की जब तक समीक्षा न हो तब तक वह अधूरा है। समीक्षा लेखन एक धैर्यपूर्ण चुनौतीभरा कार्य है जिसमें सर्वप्रथम पुस्तक को बारीकी से पढ़ना फिर चिंतन करना और तय करना कि कि सृजित रचना में प्राणों को छूने जैसा कुछ है जिसे रेखांकित किया जा सके। <br /><br />निस्संदेह समीक्षा लेखन में अब आपका नाम अग्रणी है। <br /><br />इस पुस्तक के अस्तित्त्व में आने के लिए सभी दसों रचनाकार / ब्लॉगर बराबरी के हिस्सेदार हैं। सभी ने अपना-अपना सर्वश्रेष्ठ इस पुस्तक की निर्माण प्रक्रिया में अर्पित किया है। ऐसे कई प्रयोग ब्लॉग दुनिया में चल रहे हैं। हमें फ़ख़्र है कि 39 वर्ष से साहित्य की सेवा में जुटे अयन प्रकाशन,नई दिल्ली ने गहन जाँच-विमर्श के बाद हमारी पांडुलिपि को स्वीकृति दी तत्पश्चात प्रकाशन संबंधी कार्य आरंभ हुआ।<br /><br />पुस्तक के पदाधिकारी- <br /><br />विश्वमोहन- वरिष्ठ संपादक <br /><br />रवीन्द्र सिंह यादव - सूत्रधार / संपादक पद्य खंड <br /><br />पुरुषोत्तम कुमार सिन्हा - संपादक पद्य खंड <br /><br />पम्मी सिंह 'तृप्ति' - अध्यक्षा- सलाहकार मंडल <br /><br />सुधा सिंह 'व्याघ्र' - संपादक गद्य खंड <br /><br />श्वेता सिन्हा - संपादक पद्य खंड <br /><br />अपर्णा बाजपेयी - संपादक गद्य खंड <br /><br />नीतू रजनीश ठाकुर - प्रवक्ता / सदस्या सलाहकार मंडल<br /><br />ध्रुव सिंह 'एकलव्य' - संपादक गद्य खंड / प्रभारी:प्रचार-प्रसार <br /><br />अनीता लागुरी 'अनु'- सदस्या सलाहकार मंडल<br /><br />अपने-अपने दायित्व के साथ पुस्तक प्रकाशन की प्रक्रिया में 18 माह तक जुटे रहे। सभी को हार्दिक शुभकामनाएँ। <br /><br /><br /><br /> सादर आभार आदरणीया रेणु दीदी आपने बड़े संयम के साथ समीक्षा में समय-श्रम खपाया जो अब एक साहित्यिक उपलब्धि है। हम दसों सहभागी रचनाकार / ब्लॉगर आपके तह-ए-दिल से शुक्रगुज़ार हैं। <br /><br />Ravindra Singh Yadavhttps://www.blogger.com/profile/09309044106243089225noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-70726205505863250012020-05-10T09:59:08.120-07:002020-05-10T09:59:08.120-07:00शुक्रिया नीतू जी 🙏🙏🌹🌹शुक्रिया नीतू जी 🙏🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-63322886907725984022020-05-10T08:35:19.985-07:002020-05-10T08:35:19.985-07:00बहुत ही सुंदर 👏👏👏👏
इतनी शानदार समीक्षा लिखने क...बहुत ही सुंदर 👏👏👏👏<br />इतनी शानदार समीक्षा लिखने के लिए आप निश्चित ही बधाई की पात्र हैं। किन शब्दों में तरीफ करूँ समझ नही आ रहा....आभार और शुभकामनाएं 💐💐💐💐💐NITU THAKURhttps://www.blogger.com/profile/03875135533246998827noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-37728964724520068792020-05-09T11:36:33.210-07:002020-05-09T11:36:33.210-07:00हार्दिक आभार प्रिय श्वेता । व्यक्तिगत कारणों से सम...हार्दिक आभार प्रिय श्वेता । व्यक्तिगत कारणों से समीक्षा बहुत से देर से तैयार हुई इसका खेद रहा। तुम सबके स्नेह ने इसे लिखने की प्रेरणा दी। सबको समीक्षा पसंद आई, मुझे भी संतोष हुआ। कंप्यूटर में तकनीकी खराबी से <br />कुछ शाब्दिक टंकण अशुद्धिया रह गयी <br />,जिन्हे धीरे धीरे ठीक करने का प्रयास कर रही हूँ। एक बार फिर आभार 🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-72988202626779232052020-05-09T11:29:01.118-07:002020-05-09T11:29:01.118-07:00आदरणीय विश्वमोहन जी, आपकी सकारात्मक प्रतिक्रिया...आदरणीय विश्वमोहन जी, आपकी सकारात्मक प्रतिक्रिया से अपार सन्तोष हुआ , कि मेरा प्रयास सफल रहा। और ये आपकी सहृदयता है , अन्यथा आप स्वयम सर्वसमर्थ और कलम के धनी रचनाकार है। मैं एक अत्यंत साधारण पाठिका हूँ । आप सबके प्रोत्साहन , प्रेरणा और सुसंगति ने ही मुझे आगे बढ़ाया है। आपकी रचनाएँ मेरे लिए पाठशाला की तरह रही हैं जिनसे मेरा <br />शब्द ज्ञान समृद्ध हुआ है।आप सबके सहयोग की सदैव ऋणी रहूँगी। आपके आशीर्वचनों के लिए सादर आभार 🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-18048097790930144512020-05-09T11:14:00.499-07:002020-05-09T11:14:00.499-07:00सादर आभार आदरणीय दीदी । आपने समीक्षा पढ़ी मेरा...सादर आभार आदरणीय दीदी । आपने समीक्षा पढ़ी मेरा सौभाग्य है🙏🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-76249161141949442092020-05-09T11:11:54.552-07:002020-05-09T11:11:54.552-07:00हार्दिक आभार प्रिय सखी पम्मी जी। आप सब का स्ने...हार्दिक आभार प्रिय सखी पम्मी जी। आप सब का स्नेह मेरी ऊर्जा है। मुझे आप सबकी सकारात्मक प्रतिक्रिया से अपार सन्तोष का अनुभव हो रहा है। पुनः आभार और शुभकामनायें🙏🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-89746489234080154292020-05-09T11:08:08.766-07:002020-05-09T11:08:08.766-07:00सादर आभार आदरणीय गुरुजी 🙏🙏🙏🙏सादर आभार आदरणीय गुरुजी 🙏🙏🙏🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-4274200027181091782020-05-09T11:07:06.201-07:002020-05-09T11:07:06.201-07:00प्रिय कामिनी,मनोबल बढ़ाते तुम्हारे स्नेहिल शब्दों...प्रिय कामिनी,मनोबल बढ़ाते तुम्हारे स्नेहिल शब्दों के लिए हार्दिक आभार सखी 🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-70675201093739217042020-05-09T11:03:59.202-07:002020-05-09T11:03:59.202-07:00सादर आभार सखी अनुराधा जी 🙏🙏🌹🌹सादर आभार सखी अनुराधा जी 🙏🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-2858275834333667072020-05-09T11:02:42.429-07:002020-05-09T11:02:42.429-07:00बस आप सब की ये स्नेह भरी प्रतिक्रिया ही मेर...बस आप सब की ये स्नेह भरी प्रतिक्रिया ही मेरा संतोष है प्रिय सुधा जी। हार्दिक आभार और शुभकामनायें🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4513713489953851491.post-42541290476457142020-05-09T11:00:13.930-07:002020-05-09T11:00:13.930-07:00प्रिय अपर्णा, आप सब की स्नेहिल प्रतिक्रिया से ब...प्रिय अपर्णा, आप सब की स्नेहिल प्रतिक्रिया से बहुत संतोष का अनुभव हो रहा है। हार्दिक आभार और शुभकामनायें🙏🌹🌹रेणुhttps://www.blogger.com/profile/06997620258324629635noreply@blogger.com